Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
27 Apr 2023 · 1 min read

आखिर शिथिलता के दौर

आखिर शिथिलता के दौर
से कब निकलेंगे
स्तब्धता ,मौनता और असंवेदनशीलता
को कंधों पर कब तक ढोयेंगे ?@परिमल

184 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Follow our official WhatsApp Channel to get all the exciting updates about our writing competitions, latest published books, author interviews and much more, directly on your phone.
You may also like:
नैतिक मूल्य
नैतिक मूल्य
Saraswati Bajpai
आवारा पंछी / लवकुश यादव
आवारा पंछी / लवकुश यादव "अज़ल"
लवकुश यादव "अज़ल"
मेरी सिरजनहार
मेरी सिरजनहार
कुमार अविनाश केसर
मां के तट पर
मां के तट पर
जगदीश लववंशी
मेरी मोहब्बत, श्रद्धा वालकर
मेरी मोहब्बत, श्रद्धा वालकर
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
विश्वास का धागा
विश्वास का धागा
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
गंदा है क्योंकि अब धंधा है
गंदा है क्योंकि अब धंधा है
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
पितरों के लिए
पितरों के लिए
Deepali Kalra
अमृत महोत्सव आजादी का
अमृत महोत्सव आजादी का
लक्ष्मी सिंह
बरसात।
बरसात।
Anil Mishra Prahari
सर्वप्रिय श्री अख्तर अली खाँ
सर्वप्रिय श्री अख्तर अली खाँ
Ravi Prakash
शिष्टाचार के दीवारों को जब लांघने की चेष्टा करते हैं ..तो दू
शिष्टाचार के दीवारों को जब लांघने की चेष्टा करते हैं ..तो दू
DrLakshman Jha Parimal
कितना मुझे रुलाओगे ! बस करो
कितना मुझे रुलाओगे ! बस करो
The_dk_poetry
सॉप और इंसान
सॉप और इंसान
Prakash Chandra
नवगीत
नवगीत
Mahendra Narayan
साड़ी हर नारी की शोभा
साड़ी हर नारी की शोभा
ओनिका सेतिया 'अनु '
मेरी आँख वहाँ रोती है
मेरी आँख वहाँ रोती है
Ashok deep
तोड़ न कोई राम का, निर्विकल्प हैं राम।
तोड़ न कोई राम का, निर्विकल्प हैं राम।
डॉ.सीमा अग्रवाल
मेरे पिता से बेहतर कोई नहीं
मेरे पिता से बेहतर कोई नहीं
Manu Vashistha
"ॐ नमः शिवाय"
Radhakishan R. Mundhra
मुहब्बत  फूल  होती  है
मुहब्बत फूल होती है
shabina. Naaz
■ मुक्तक।
■ मुक्तक।
*Author प्रणय प्रभात*
भारत अपना देश
भारत अपना देश
प्रदीप कुमार गुप्ता
सामना
सामना
Shekhar Chandra Mitra
लिपि सभक उद्भव आओर विकास
लिपि सभक उद्भव आओर विकास
श्रीहर्ष आचार्य
चाय की चुस्की संग
चाय की चुस्की संग
Surinder blackpen
छुड़ा नहीं सकती मुझसे दामन कभी तू
छुड़ा नहीं सकती मुझसे दामन कभी तू
gurudeenverma198
ठहराव नहीं अच्छा
ठहराव नहीं अच्छा
Dr. Meenakshi Sharma
गोविंदा श्याम गोपाला
गोविंदा श्याम गोपाला
Bodhisatva kastooriya
✍️ इंसान सिखता जरूर है...!
✍️ इंसान सिखता जरूर है...!
'अशांत' शेखर
Loading...