Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
13 Jul 2016 · 1 min read

मुक्तक (जान)

मुक्तक (जान)

ये जान जान कर जान गया ,ये जान तो मेरी जान नहीं
जिस जान के खातिर जान है ये, इसमें उस जैसी शान नहीं
जब जान वह मेरी चलती है ,रुक जाते हैं चलने बाले
जिस जगह पर उनकी नजर पड़े ,थम जाते हैं मय के प्याले

मुक्तक (जान)
मदन मोहन सक्सेना

Language: Hindi
548 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
अजब गजब
अजब गजब
Akash Yadav
तंग जिंदगी
तंग जिंदगी
लक्ष्मी सिंह
■ एक ही उपाय ..
■ एक ही उपाय ..
*Author प्रणय प्रभात*
24/249. *छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
24/249. *छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
अक्सर यूं कहते हैं लोग
अक्सर यूं कहते हैं लोग
Harminder Kaur
पुस्तक समीक्षा -राना लिधौरी गौरव ग्रंथ
पुस्तक समीक्षा -राना लिधौरी गौरव ग्रंथ
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
"सोच अपनी अपनी"
Dr Meenu Poonia
होली
होली
Mukesh Kumar Sonkar
Friendship Day
Friendship Day
Tushar Jagawat
कुछ रिश्तो में हम केवल ..जरूरत होते हैं जरूरी नहीं..! अपनी अ
कुछ रिश्तो में हम केवल ..जरूरत होते हैं जरूरी नहीं..! अपनी अ
पूर्वार्थ
प्यार का पंचनामा
प्यार का पंचनामा
Dr Parveen Thakur
किसान
किसान
Dr. Pradeep Kumar Sharma
हाँ, तैयार हूँ मैं
हाँ, तैयार हूँ मैं
gurudeenverma198
आँखों के आंसू झूठे है, निश्छल हृदय से नहीं झरते है।
आँखों के आंसू झूठे है, निश्छल हृदय से नहीं झरते है।
Buddha Prakash
बहुत मुश्किल होता हैं, प्रिमिकासे हम एक दोस्त बनकर राहते हैं
बहुत मुश्किल होता हैं, प्रिमिकासे हम एक दोस्त बनकर राहते हैं
Sampada
इम्तिहान
इम्तिहान
AJAY AMITABH SUMAN
यह ज़िंदगी
यह ज़िंदगी
Dr fauzia Naseem shad
अनुभव
अनुभव
डॉ०प्रदीप कुमार दीप
लोगों को सफलता मिलने पर खुशी मनाना जितना महत्वपूर्ण लगता है,
लोगों को सफलता मिलने पर खुशी मनाना जितना महत्वपूर्ण लगता है,
Paras Nath Jha
जिंदगी को बड़े फक्र से जी लिया।
जिंदगी को बड़े फक्र से जी लिया।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
पता नहीं किसने
पता नहीं किसने
Anil Mishra Prahari
सखी री, होली के दिन नियर आईल, बलम नाहिं आईल।
सखी री, होली के दिन नियर आईल, बलम नाहिं आईल।
राकेश चौरसिया
पहले क्या करना हमें,
पहले क्या करना हमें,
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
मेरे जिंदगी के मालिक
मेरे जिंदगी के मालिक
Basant Bhagawan Roy
"Har Raha mukmmal kaha Hoti Hai
कवि दीपक बवेजा
घड़ी घड़ी ये घड़ी
घड़ी घड़ी ये घड़ी
Satish Srijan
22, *इन्सान बदल रहा*
22, *इन्सान बदल रहा*
Dr Shweta sood
गर्जन में है क्या धरा ,गर्जन करना व्यर्थ (कुंडलिया)
गर्जन में है क्या धरा ,गर्जन करना व्यर्थ (कुंडलिया)
Ravi Prakash
पढ़ाई -लिखाई एक स्त्री के जीवन का वह श्रृंगार है,
पढ़ाई -लिखाई एक स्त्री के जीवन का वह श्रृंगार है,
Aarti sirsat
मेरी कलम से…
मेरी कलम से…
Anand Kumar
Loading...