Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
2 Dec 2016 · 1 min read

उनका लिखना

लघुकथा
उनका लिखना

*अनिल शूर आज़ाद

तेज गति से आती एक अनियंत्रित बस ने एक युवक को कुचल दिया। तुरन्त ही वहां भीड़ इकट्ठा हो गई। दुर्घटना होते ही बस-चालक जाने कहां हवा हो गया। कुछ और हाथ न लगा तो, उग्र भीड़ ने बस को ही बुरी तरह तोड़-फोड़ डाला। इतने में पुलिस की एक ‘जिप्सी’ भी वहां पहुंच गई।
पुलिस के दो कर्मचारी..अभी-अभी वहां आए बस के मालिक के साथ..एक ओर जाकर कुछ बातचीत करने लगे। पुलिस का एक जवान घायल युवक के पास खड़ी जिप्सी के बोनट पर कागज रखकर..कुछ लिखने लगा।
“अजी साहब, इसमें जान बाक़ी है.. देखो, इसके होंठ हिल रहे हैं..इसे पहले अस्पताल पहुंचाओ भाई..” एक बुजुर्ग ने अधीर होकर कहा।
लेकिन..पुलिस वाले पर उसके शब्दों का कोई असर नही हुआ। वह कागज पर, जाने क्या गटर-पटर लिखता रहा।
देखते-देखते घायल युवक ने दम तोड़ दिया।
मगर..पुलिसवाला अभी भी कुछ लिखे जा रहा था, बस लिखे ही जा रहा था….

Language: Hindi
477 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
गीत गाने आयेंगे
गीत गाने आयेंगे
Er. Sanjay Shrivastava
वक्त
वक्त
Shyam Sundar Subramanian
पृथ्वी
पृथ्वी
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
नहीं देखा....🖤
नहीं देखा....🖤
Srishty Bansal
रामायण  के  राम  का , पूर्ण हुआ बनवास ।
रामायण के राम का , पूर्ण हुआ बनवास ।
sushil sarna
गंगा दशहरा मां गंगा का प़काट्य दिवस
गंगा दशहरा मां गंगा का प़काट्य दिवस
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
10 Habits of Mentally Strong People
10 Habits of Mentally Strong People
पूर्वार्थ
जीवन का अंत है, पर संभावनाएं अनंत हैं
जीवन का अंत है, पर संभावनाएं अनंत हैं
Pankaj Sen
2479.पूर्णिका
2479.पूर्णिका
Dr.Khedu Bharti
मेरी कहानी मेरी जुबानी
मेरी कहानी मेरी जुबानी
Vandna Thakur
समय की चाल समझ मेरे भाय ?
समय की चाल समझ मेरे भाय ?
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
भरी आँखे हमारी दर्द सारे कह रही हैं।
भरी आँखे हमारी दर्द सारे कह रही हैं।
शिल्पी सिंह बघेल
न दोस्ती है किसी से न आशनाई है
न दोस्ती है किसी से न आशनाई है
Shivkumar Bilagrami
काश तुम ये जान पाते...
काश तुम ये जान पाते...
डॉ.सीमा अग्रवाल
मन है एक बादल सा मित्र हैं हवाऐं
मन है एक बादल सा मित्र हैं हवाऐं
Bhargav Jha
लौ
लौ
Dr. Seema Varma
बिस्तर की सिलवटों में
बिस्तर की सिलवटों में
Surinder blackpen
श्री श्रीचैतन्य महाप्रभु
श्री श्रीचैतन्य महाप्रभु
Pravesh Shinde
*अहं ब्रह्म अस्मि*
*अहं ब्रह्म अस्मि*
DR ARUN KUMAR SHASTRI
■ #मुक्तक
■ #मुक्तक
*Author प्रणय प्रभात*
हास्य कुंडलियाँ
हास्य कुंडलियाँ
Ravi Prakash
भगतसिंह
भगतसिंह
Shekhar Chandra Mitra
I have recognized myself by understanding the values of the constitution. – Desert Fellow Rakesh Yadav
I have recognized myself by understanding the values of the constitution. – Desert Fellow Rakesh Yadav
Desert fellow Rakesh
फूल
फूल
Neeraj Agarwal
प्रो. दलजीत कुमार बने पर्यावरण के प्रहरी
प्रो. दलजीत कुमार बने पर्यावरण के प्रहरी
Nasib Sabharwal
नाम इंसानियत का
नाम इंसानियत का
Dr fauzia Naseem shad
प्रणय 8
प्रणय 8
Ankita Patel
मुक्तक-विन्यास में एक तेवरी
मुक्तक-विन्यास में एक तेवरी
कवि रमेशराज
बेशर्मी
बेशर्मी
Sanjay ' शून्य'
देश- विरोधी तत्व
देश- विरोधी तत्व
लक्ष्मी सिंह
Loading...