सुख दुख
छोटा दुख पर्वत सा लगता,सुख का कोई नाप नहीं
सुख दुख में यदि सम होंगे हम होगा फिर संताप नहीं
ज्ञान से आलोकित हो यदि पथ, रहे जीवन में उजास
कोयले में हीरे ढूंढ लो होगा पश्चाताप नहीं।
छोटा दुख पर्वत सा लगता,सुख का कोई नाप नहीं
सुख दुख में यदि सम होंगे हम होगा फिर संताप नहीं
ज्ञान से आलोकित हो यदि पथ, रहे जीवन में उजास
कोयले में हीरे ढूंढ लो होगा पश्चाताप नहीं।